आखिर नोटों पर पहली बार कब लगा था महात्मा गांधी का चित्र, जानें – पूरा इतिहास..

डेस्क : समय-समय पर भारतीय करेंसी पर लगी गांधी जी की तस्वीर को बदलने की बातें होती रहती है. इस तरह की बात करने वाले लोग कुछ खास विचारधारा से प्रेरित होते हैं. लेकिन यह सही है कि अब तक किसी राजनीतिज्ञ ने नोटों से गांधी की फोटो बदलने की मांग नहीं की थी. हाल ही में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने नोटों पर लक्ष्मी और गणेश की फोटो लगाने की मांग कर देश भर में एक हलचल मचा दी. दिल्ली के मुख्यमंत्री केजरीवाल ने भी नोटों से गांधीजी की फोटो हटाने की मांग नहीं की है.

मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को अधिकारियों को देश के नोटों पर भगवान गणेश और देवी लक्ष्मी की तस्वीर को छापने का आदेश देना चाहिए-जो देश की पौराणिक कथाओं में धन और समृद्धि के प्रतीक हैं. इस मांग के पीछे आप प्रमुख का तर्क था कि नोटों पर देवता शुभ होंगे और वे देश को आर्थिक संकट से बचाने में मदद भी करेंगे. इस मांग के साथ ही केजरीवाल ने एक तीर से 2 निशाना साधा है. उन्होंने मोदी के नेतृत्व में भारत की आर्थिक समस्याओं पर भी प्रकाश डाला और बीजेपी के इस आरोप को बेअसर करने का प्रयास किया कि आप हिंदू विरोधी है. हालांकि, बीजेपी और कांग्रेस ने केजरीवाल की आलोचना करते हुए दावा किया कि गुजरात और हिमाचल प्रदेश में आगामी चुनावों के मद्देनजर यह मांग की गई थी.

इस वर्ष की शुरुआत में पंजाब विधानसभा चुनाव जीतने के बाद, AAP को बीजेपी के लिए प्रमुख चुनौती के रूप में देखा जा रहा है, जो कि अब कांग्रेस की जगह ले रही है. गुजरात में केजरीवाल और उनके भरोसेमंद सहयोगी, मनीष सिसोदिया और भगवंत मान चुनाव प्रचार के दौरान यह चर्चा पैदा करते दिखाई देते हैं.बीजेपी, जिसने पिछले 2 दशकों में गुजरात चुनाव नहीं हारा है, ने AAP को “हिंदू विरोधी” कहा है. यह आरोप दिल्ली के एक विधायक के कथित वीडियो से उपजा है जिसमें कथित रूप से धर्मांतरित लोगों को हिंदू देवताओं के सामने कभी प्रार्थना नहीं करने की कसम खाते हुए भी दिखाया गया है.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *